वरिष्ठ नागरिक काव्य मंच की काव्य गोष्ठी संपन्न
भोपाल।वरिष्ठ नागरिक काव्य मंच की मध्यप्रदेश इकाई द्वारा आयोजित मई माह की काव्य गोष्ठी दिनांक 18 मई 2024 को ऑनलाइन संपन्न हुई l जिसमें हमारी मुख्य अतिथि झारखंड इकाई की अध्यक्ष श्रीमती संगीता सहाय थी l कार्यक्रम की अध्यक्षता श्रीमती जया आर्य ने की l स्वागत उद्बोधन श्रीमती सुनीता केसवानी द्वारा किया गया l
अध्यक्ष श्रीमती जया आर्य ने अंतरराष्ट्रीय वरिष्ठ नागरिक काव्य मंच पर सभी अतिथियों का स्वागत करते हुए अपनी एक सुंदर रचना प्रस्तुत की- " रिश्ता वही भरोसेमंद है जो लता की तरह लिपट जाती है l
आरंभ में श्रीमती विद्या श्रीवास्तव द्वारा सरस्वती वंदना प्रस्तुत की गई l कार्यक्रम का कुशल संचालन श्रीमती मीनाक्षी सिलकारी ने किया l
मुख्य अतिथि श्रीमती संगीता सहाय ने अपने सारगर्भित उद्बोधन मैं कहां की आज हम आभासी दुनिया के गुलाम बनकर रह गए हैं और अपनी रचना बहुत याद आता है वह गुजरा जमाना... सुनाई l
कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रही वरिष्ठ नागरिक काव्य मंच की अध्यक्षा श्रीमती जया आर्य ने अतिथियों का स्वागत करते हुए अपनी एक सुंदर रचना प्रस्तुत की- " रिश्ता वही भरोसेमंद है जो लता की तरह लिपट जाती है l
गोष्ठी में लगभग 15 रचनाकारों ने सहभागिता की व सुंदर रचनाएं प्रस्तुत की रुखसाना बानो- मौसम है बहारों का.., सरोज लता- गर्मी के दिन..., जागृति डोंगरे- नदी पर.., शकुंतला कालिया- में नदी हूं.., दुर्गा रानी- में पानी हूं.., वसुधा - वर्षा ऋतु पर.., कीर्ति विद्या सिन्हा- निरंतर बहती नर्मदा.., आशा सक्सैना- दोहे व पदमा तिवारी, मीना श्रीवास्तव आदि रचनाकारों ने सुंदर रचनाएं प्रस्तुत की l
अंत में कार्यक्रम का आभार सुश्री मृदुल त्यागी जी ने व्यक्त किया और सौहाद्र पूर्ण वातावरण में काव्य गोष्ठी संपन्न हुई।
मृदुल त्यागी
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