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प्रसिद्ध व्यंग्यकार हरिशंकर परसाई के 101 वें जन्मदिवस पर जमानी में विचार गोष्ठी का आयोजन हुआ



प्रसिद्ध व्यंग्यकार हरिशंकर परसाई के 101 वें जन्मदिवस पर जमानी में विचार गोष्ठी का आयोजन हुआ


इटारसी। प्रसिद्ध व्यंग्यकार हरिशंकर परसाई के 101वें जन्मदिवस के अवसर पर उनके गृहग्राम जमानी में एक भव्य विचार गोष्ठी और सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम का आयोजन हरिशंकर परसाई जन्मोत्सव समिति और कांग्रेस विचार मंच के संयुक्त तत्वावधान में हुआ। कार्यक्रम में देश भर से साहित्यकार, राजनेता, रंगकर्मी और आम जनता शामिल हुई। कार्यक्रम के सूत्रधार हेमंत दुबे ने सर्वप्रथम कार्यक्रम की संपूर्ण जानकारी और अतिथियों का स्वागत किया।


'निठल्ले की डायरी का जीवंत मंचन


कार्यक्रम का एक मुख्य आकर्षण जबलपुर के विवेचना रंग मंडल द्वारा हरिशंकर परसाई के प्रसिद्ध व्यंग्यों पर आधारित नाटक 'निठल्ले की डायरीÓ का मंचन था। इस नाटक ने राजनीतिक और सामाजिक कुरीतियों पर तीखा प्रहार करते हुए दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया। करीब डेढ़ घंटे चले इस मंचन में कलाकारों ने अपने शानदार अभिनय से दर्शकों को कुर्सियों पर बांधे रखा। इस नाटक में 'कक्का जीÓ का किरदार निभाने वाले वरिष्ठ रंगकर्मी और अभिनेता नवीन चौबे के अभिनय की विशेष प्रशंसा हुई।


हरिशंकर परसाई सम्मान और अतिथियों के विचार


इस वर्ष का हरिशंकर परसाई सम्मान वरिष्ठ रंगकर्मी और अभिनेता नवीन चौबे को प्रदान किया गया। नाटक 'निठल्ले की डायरीÓ में अपने शानदार अभिनय के लिए प्रसिद्ध नवीन चौबे ने इस नाटक के अब तक एक हजार से अधिक मंचन किए हैं।
कार्यक्रम में आए अतिथियों ने परसाई जी के व्यक्तित्व और कृतित्व पर अपने विचार साझा किए। गुरदीप सिंह सप्पल (राज्यसभा टीवी के प्रथम डायरेक्टर) ने कहा कि आज के समय में जब धर्म के नाम पर लोगों को उलझाया जा रहा है, तब परसाई की लेखनी और भी प्रासंगिक हो गई है। उन्होंने कटाक्ष करते हुए कहा कि आज परसाई जी ऐसा लिखते तो शायद उन्हें जेल जाना पड़ता। परसाई ने अपने लेखन में जिस समाज की कल्पना की थी, आज हम उसी समाज में जी रहे हैं, जहां तर्क खत्म हो चुके हैं और भीड़ तैयार हो रही है।
पूर्व सांसद रामेश्वर प्रसाद नीखरा ने बताया कि परसाई जी ने ही उन्हें कांग्रेस में शामिल होने की सलाह दी थी। उन्होंने आज के समाज में लोगों को बांटने की हो रही साजिशों पर चिंता व्यक्त की और कहा कि हमें इससे बचना होगा।

 व्यंग्यकार संपत सरल ने बालेंदु परसाई 'बाप' के कार्टूनों की प्रदर्शनी का उद्घाटन किया। इस अवसर पर रामेश्वर प्रसाद नीखरा, नवीन चौबे, राजेंद्र चंद्रकांत राय, गुरदीप सिंह सप्पल, भूपेंद्र गुप्ता, अश्वनी दुबे, प्रोफेसर कश्मीर सिंह उप्पल सहित कई गणमान्य व्यक्ति और देश भर के साहित्य प्रेमी उपस्थित थे। कार्यक्रम में प्रोफेसर केएस उप्पल, सूत्रधार हेमंत दुबे का भी सम्मान किया गया। कार्यक्रम का संचालन समाजवादी चिंतक गोपाल राठी ने किया और अंत में आभार भूपेंद्र गुप्ता ने व्यक्त किया।

इस अवसर पर जिला कांग्रेस अध्यक्ष शिवाकांत पांडेय, पूर्व अध्यक्ष पुष्पराज सिंह, नगर कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष पंकज राठौर, स्कूल संचालक मो. जाफर सिद्दकी, श्रीमती मनीता सिद्दीकी, ग्राम जमानी ग्राम पंचायत की सरपंच श्रीमती कला कुमरे, साहित्यकार विनोद कुशवाहा, योगेश दीवान, निर्मल शुक्ला, कमलेश, एकलव्य संस्था की डायरेक्टर, अशोक तिवारी, चंद्रेश मालवीय, बाल$कृष्ण मालवीय सहित, इटारसी, सिवनी मालवा, हरदा, भोपाल, देवास, पिपरिया, नर्मदापुरम सहित अनेक शहरों के साहित्यप्रेमी, कॉलेज प्राचार्य, स्कूली बच्चे मौजूद थे।
देवेन्द्र सोनी नर्मदांचल के वरिष्ठ पत्रकार तथा युवा प्रवर्तक के प्रधान सम्पादक है। साथ ही साहित्यिक पत्रिका मानसरोवर एवं स्वर्ण विहार के प्रधान संपादक के रूप में भी उनकी अपनी अलग पहचान है। Click to More Detail About Editor Devendra soni

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